- कायस्थ महासभा ने मनायी स्वामी विवेकानन्द की 160वीं जयन्ती
अजय पाण्डेय
जौनपुर। कलकत्ता में जन्मे विवेकानंद जी राम कृष्ण परम हंस को अपना गुरु मानते थे। हिंदुत्व की जों व्याख्या विवेकानंद जी ने शिकागो में सनातन धर्म का परचम लहराया। वह पूरी दुनिया में प्रासंगिक हैं युवाओं को उनके जीवन दर्शन से प्रेरणा लेने की जरूरत है। उपरोक्त बातें कर्मचारी नेता राकेश श्रीवास्तव प्रदेश महासचिव/जिलाध्यक्ष अखिल भारतीय कायस्थ महासभा ने स्वामी विवेकानंद पार्क ख्वाजादोस्त्त सिपाह में स्वामी जी के प्रतिमा पर माल्यार्पण करने के बाद उपस्थित स्वाजातीय बंधुओं को संबोधित करतें हुए कही।
युवा अध्यक्ष अमित भारत ने विवेकानंद जी के जीवन दर्शन पर प्रकाश डालते हुए स्वामी से जुड़े कई प्रसंग बताया। साथ ही युवाओं को महासभा से जुड़ने का आह्वान किया। संचालन महासचिव संजय अस्थाना ने किया। इस अवसर पर आंनद मोहन श्रीवास्तव, श्याम रतन श्रीवास्तव, दयाशंकर निगम, शशि श्रीवास्तव गुड्डू, दिनेश श्रीवास्तव, राजेश श्रीवास्तव, अखिलेश श्रीवास्तव, मनीष श्रीवास्तव, रितेश श्रीवास्तव, विजय श्रीवास्तव, राहुल, अर्जुन आदि उपस्थित रहे।