Monday, April 29, 2024
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छात्रों में विवाद पर शिक्षक ने दलित छात्र को बेरहमी से पीटा

दिन भर कोतवाली में बैठने वाले परिजन निराश होकर लौटे
समाचार लिखे जाने तक दर्ज नहीं किया गया मुकदमा
विनोद कुमार/दिलीप कुमार
केराकत, जौनपुर। स्कूल को शिक्षा का मंदिर कहा जाता है जहां अध्यापक गुरु होता है जो बच्चो को शिक्षा देने का कार्य करता है, मगर उसी स्कूल के अध्यापकों द्वारा अगर बच्चों को जाति पाति के बंधन में बाटा जाय तो आप क्या कहेंगे। ऐसा ही एक मामला प्रकाश में आया है। हम बात कर रहे हैं।
जानकारी के अनुसार स्थानीय क्षेत्र के औवार गांव में स्थित कंपोजिट उच्च प्राथमिक विद्यालय में सोमवार की सुबह अध्यापक द्वारा एक दलित छात्र को मारने पीटने को लेकर परिजनों ने विद्यालय का घेराव कर अध्यापक पर उचित कार्यवाही करने की मांग को उठाई।
गौरतलब हों कि शनिवार के दिन अध्यापक सुरेश पाल ने छात्रों में हुए विवाद को लेकर 8वीं के छात्र को बुरी तरह पीटकर घायल कर दिया जिसको लेकर सोमवार की सुबह पीड़ित छात्र के परिजनों ने विद्यालय पहुंच अध्यापक के खिलाफ जमकर हंगामा किया। छात्र के पिता भइया लाल ने बताया कि अध्यापक सुरेश पाल औवार गांव के ही निवासी है जो गलत भावना से प्रेरित होकर मेरे बेटे को बुरी तरह पीट दिया। सर व हाथ में गंभीर चोट आई है। घायल बेटा घर आया और रो—रोकर पूरी बात बताई। दर्द होने के कारण कुछ दर्द निवारक दवा दी गई।
शनिवार को ही अध्यापक के खिलाफ चौकी पर तहरीर दी गई थी, मगर दो दिन बीत जाने के बाद भी पुलिस ने अध्यापक के ऊपर कोई कार्यवाई नहीं की। तत्पश्चात सुबह विद्यालय पहुंच कर घेराव किया गया है। ग्रामीणों व भईया लाल ने एक पत्र बेसिक शिक्षा अधिकारी को सौप आरोप लगाया कि विद्यालय के प्रधानाध्यापक अमित सिंह है जो विद्यालय आते ही नहीं। अपना कार्यभार सुरेश पाल को दिए है जिससे मनमानी करते है, जातिवाद करते हैं।
मिली जानकारी के अनुसार शाम 6 बजे खबर लिखे जाने तक छात्र समेत परिजन थाने में बैठे रहे। न उनका मेडिकल कराया गया और न ही मुकदमा लिखा गया जो पुलिस की कार्य प्रणाली पर सवालिया निशान खड़ा करता है। वहीं अध्यापक मौके से फरार है।

  • शिक्षक के खिलाफ कार्यवाही को लेकर बीएसए से की गयी शिकायत

छात्र के पिता भईया लाल सहित ग्रामीणों ने एक पत्र बेसिक शिक्षा अधिकारी लिखा जिसमें आरोप लगाया कि विद्यालय के प्रधानाध्यापक अमित सिंह हैं जो विद्यालय आते ही नहींं अपना कार्यभार सुरेश पाल को दिए हैं जिससे मनमानी करते हैं। जातिवाद करते हैं। बेटे को कमरे में बंद करके पीटा है जिससे हाथ टूट गया है। शिक्षक को सस्पेंड करने की मांग करते हुए शिक्षक विपिन सिंह को विद्यालय से ट्रान्सफर करने की मांग किया गया।

 

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