Monday, April 29, 2024
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मिलावटी खाद्य पदार्थों पर तत्काल अंकुश लगाया जाय: वकार हुसैन

जौनपुर। हिन्दुस्तान मानवाधिकार के प्रदेश महासचिव वकार हुसैन ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखकर अधिकारियों की मिलीभगत से मिलावटी खाद्य पदार्थ पर तत्काल अंकुश लगाने की मांग किया। मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर उन्होंने कहा कि हममें से हर व्यक्ति जानता है कि बाजार में बिकने वाला लगभग सारा फुड प्रोडक्ट, चाहे बड़ी से बड़ी कम्पनियों का सामान हो या बाजारों में बिकने वाला खुला खाद्य पदार्थ मिलावट से अछूता नहीं है जो स्लो प्वाइजन के रुप में हमें किसी भयंकर बिमारी के जरिये मौत के मुॅह में झोक रहा है।
श्री हुसैन ने पत्र में कहा कि यदि व्यापारी इस कुप्रथा को धन लोभ में अंजाम दे रहे हैं तो प्रशासन में बैठे जिन हाथों को इसे रोकने का अधिकार सौपा गया है, वे भी धन लोभ में ही इसे रोकने में ईमानदार नहीं है।
प्रदेश महासचिव ने एक सर्वे रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि जब देश में केवल 14 करोड़ लीटर दूध का उत्पादन हो रहा है तो 64 करोड़ लीटर दूध की खपत कैसे हो रही है? खोवा मण्डी में कुन्टलो खोआ कैसे बिक रहे हैं? स्वास्थ्य के लिए हानिकारक पाउडर, सिन्थेटिक दूध, केमिकल्स और जहरीले रंग से बनी हुई मिठाइयां, बैकरियों में बने बिस्कुट, ब्रेड जहर के रुप में बिक रहे हैं।
उन्होंने कहा कि इसी सिन्थेटिक दूध से बाजारो में दही, पनीर, लस्सी आदि बिक रहे है। डिर्टेजेन्ट पाउडर और यूरिया एवं विस्फोटक केमिकल से बने दूध मासूम बच्चो को पिलाये जा रहे है। उन्होने अपने पत्र में चेतावनी का भी उल्लेख किया कि मिलावट के चलते ही 2025 तक 87 प्रतिशत भारतीयों को कैंसर जैसी जानलेवा बिमारी हो सकती है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से उन्होने इस पर तत्काल अंकुश लगाने का आग्रह किया है।

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